बॉलीवुड स्टार रणवीर सिंह और दीपिका पादुकोण आईपीएल फ्रेंचाइजी खरीद सकते हैं। बॉलीवुड का यह सुपरहिट कपल आईपीएल 2022 में शामिल होने वाली दो नई टीमों से किसी एक का मालिकाना हक ले सकता है। आईपीएल 2021 में कुल आठ टीमें थी और आईपीएल 2022 में 10 टीमें होंगी। दो नई टीमों का एलान 25 अक्तूबर को किया जाएगा। अगर इस दौरान रणवीर और दीपिका को भी एक टीम का मालिकाना हक मिलता है को वो बॉलीवुड की पांचवी सेलिब्रिटी होंगे, जो आईपीएल की टीम खरीदेंगे। उनसे पहले शाहरुख खान, जूही चावला, शिल्पा शेट्टी और प्रीती जिंटा ने आईपीएल फ्रेंचाइजी में मालिकाना हक ले रखा है।
रणवीर और दीपिका के आईपीएल टीम खरीदने के खबर सामने आने पर कोलकाता नाइटराइडर्स के विकेटकीपर दिनेश कार्तिक ने मजाकिया अंदाज में कहा है कि इस टीम की ड्रेस मजेदार होगी। कार्तिक रणवीर के ड्रेसिंग सेंस पर मजाक कर रहे थे।
किस बॉलीवुड सितारे के पास कौन सी टीमबॉलीवुड के सितारों में किसी भी स्टार ने अकेले कोई टीम नहीं खरीदी है। सभी अभिनेताओं ने टीम का कुछ ही हिस्सा खरीदा है। बॉलीवुड के किंग खान कहे जाने वाले शाहरुख खान ने कोलकाता की फ्रेंचाइजी खरीदी है। उनके साथ जूही चावला ने भी इस टीम में कुछ पैसा लगाया है। वहीं प्रीति जिंटा ने पंजाब किंग्स की टीम में अपना पैसा लगाया है। शिल्पा शेट्टी और उनके पति राज कुंद्रा ने राजस्थान रॉयल्स की टीम में पैसा लगाया है। इनमें शाहरुख की टीम कोलकाता दो बार आईपीएल का खिताब जीत चुकी है। वहीं राजस्थान की टीम ने एक बार आईपीएल ट्रॉफी अपने नाम की है, जबकि प्रिति की पंजाब अब तक आईपीएल का खिताब नहीं जीत पाई है।
आईपीएल टीम खरीदना चाहते हैं ये बिजनेस ग्रुप
रणवीर और दीपिका के अलावा कई और हस्तियों ने आईपीएल में नई टीम खरीदने में दिलचस्पी दिखाई है। इनमें संजीव गोयनका ग्रुप, मशहूर फार्मा कंपनी टॉरेंट, अरबिंदो फार्मा, ब्रॉडकास्ट और स्पोर्ट्स कंसल्टिंग एजेंसियां आईटीडब्ल्यू, ग्रुप एम, कंसोर्टियम ऑफ सिंगापुर स्थित प्राइवेट इक्विटी फर्म, ग्लेजर फैमिली, जिंदल स्टील, रॉनी स्क्रूवाला, कोटक ग्रुप और अडानी समेत कई बड़े बिजनस ग्रुप्स शामिल हैं।
दुनिया की सबसे अमीर क्रिकेट लीग है आईपीएल
साल 2008 में शुरु होने वाली इंडियन प्रीमियर लीग दुनिया की सबसे अमीर क्रिकेट लीग है। आईपीएल में अधिकतर सीजन में आठ टीमों ने ही भाग लिया है। इस लीग में इससे पहले भी 10 टीमें रहे चुकी हैं, लेकिन दो टीमों की असफलता के बाद उन्हें बंद कर दिया गया था और उनके मालिक दिवालिया हो गए थे। इनमें से एक टीम सुब्रुत राय सहारा की थी, जिसका नाम पुणे वॉरियर्स था वहीं दूसरी टीम का नाम कोच्ची टस्कर्स था।